मैं आप द्वारा उल्लेखित विषयों में बेहतर कर सकता हूँ। मेरी लेखनी हिंदी भाषा में होगी। हिंदी भाषा से लगाव के चलते मैंने हिंदी साहित्य से स्नातक कर इसके व्यापक प्रचार-प्रसार हेतु हिंदी भाषा में लिखना व संभाषण शुरू किया। कुछ वर्षों पश्चात मुझे भान हुआ कि समाज में व्याप्त विभिन्न समस्याओं को कहने व शीर्षासीन व्यक्तियों तक पहुँचाने हेतु एक अदद मंच की आवश्यकता है जो स्वयं में समर्थ हो। अतः मैंने पत्रकारिता के पेशे का चुनाव किया। मेरे दृष्टिकोण से यदि समझें तो जो व्यक्ति निर्भीक, ऊर्जा से परिपूर्ण, समाज में व्याप्त समस्याओं को कहने, पतितों/शोषितों का पक्ष रखने व समाज के कतिपय वर्ग के विरुद्ध आवाज़ उठा समाज के उत्थान व हित हेतु समर्पित है वही 'पत्रकार' कहलाने योग्य है। सच्चे मायनों में उसे ही क्रांति के पुरोधा के रूप में देखना उचित होगा। मैं आपके साथ काम करने हेतु इच्छुक हूँ यदि आप उचित समझें तो अवसर अवश्य दें।